विकास कुमार/ऋषभ चौहान।
हरिद्वार ग्रामीण में हरीश रावत की बेटी अनुपमा रावत को वोट देने का खामियाजा भुगत रहे हरिद्वार ग्रामीण के कांग्रेसी नेताओं और आम लोगों की उम्मीदें अब अनुपमा रावत से टूटती जा रही हैं। अब विधानसभा में समर्थकों के उत्पीड़न के बजाए महंगाई पर धरना देती नजर आई। अनुपमा के इस कदम से हरिद्वार ग्रामीण के समर्थक खासे नाराज हैं। वहीं समर्थकों का कहना है कि अनुपमा इस तरह ही अगर कार्यकर्ताओं को नजरअंदाज करती रही तो जल्द ही उन्हें पूर्व मंत्री स्वामी यतीश्वरांनद की दमनकारी नीतियों के खिलाफ अकेले ही आवाज बुलंद करनी पडेगी। वहीं दूसरी ओर समर्थक श्यामपुर में धरने पर बैठ अपना आंदोलन शुरु कर दिया है।
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छवि के चक्कर में कहीं जमीन ना खिसक जाए
हरिद्वार ग्रामीण के एक बडे कांग्रेसी नेता ने बताया कि अनुपमा रावत अपनी छवि बनाने के चक्कर में कुछ खास चाटुकारों की सलाह पर चल रही हैं। एक वर्ग के लोगों से दूरी बनाए रखना इसी का परिणाम है। जबकि इस वर्ग ने बपंर वोट अनुपमा रावत को दिया था। वहीं दूसरी ओर अगर वो इसी तरह छवि के चक्कर में दूरी बनाएगी तो उन्हें पता भी नहीं लगेगा कि कब उनके पैरों तले जमीन खिसक जाएगी।
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हरीश रावत ने दिया मौन धरना
वहीं हरिद्वार ग्रामीण के कार्यकर्ताओं पर उत्पीडन की कार्रवाई के चलते हरीश रावत ने अपने घर पर एक घंटे मौन उपवास रखकर धरना दिया। हालांकि लोगों ने उनके इस काम को महज नौंटकी बताया और उनके फेसबुक पर कमेंट भी किए। वहीं हरिद्वार ग्रामीण के कार्यकर्ताओं का कहना है कि हरीश रावत की तरह अनुपमा रावत को भी विधानसभा में उनका मुद्दा उठाना चाहिए था। लेकिन अनुपमा रावत महंगाई पर बैठी रही।