चंद्रशेखर जोशी।
तीन साल अपने बच्चे से अलग रह रही मां ने ऐसा कदम उठाया जो कानून की नजर में अपराध है लेकिन हरिद्वार पुलिस ने मानवीय नजर से मामला देखा और दो परिवारों के साथ बच्चे का बचपन खत्म होने से बचा लिया। मामला हरिद्वार के ज्वालापुर कोतवाली के सराय गांव का है जहां एक सात साल के बच्चे के चोरी होने की सूचना ने पुलिस के हाथ पांव फूला दिए। जनपद की पुलिस एक्टिव हो गई लेकिन पुलिस को राहत तब मिली जब एक महिला अपने बच्चे को भगवानपुर के मंडावर चौकी लेकर पहुंची और घटना की जानकारी दी।
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पुलिस ने दिखाया मानवीय रुप, कराया मिलन
नियमानुसार मामला अपहरण का था क्योंकि सीसीटीवी फुटेज में दो बाइक और एक कार की मदद से महिला व उसके मायके वाले बच्चे को सराय में उसके पिता के घर के बाहर से उठाते हुए नजर आ रहे हैं। लेकिन, एसएसपी अजय सिंह ने मामले की गंभीरता को समझा और मातहत अफसरों को मामले को मानवीय दृष्टिकोण से हल करने की हिदायत दी।
इसके बाद बच्चे की मां तरन्नुम निवासी भगवानपुर और बच्चे के पिता अब्दुल कादिर सहित दोनों परिवारों को थाने बुलाया। पता चला कि दोनों की आठ साल पहले शादी हुई थी लेकिन तीन साल पहले दोनों में विवाद के बाद पत्नी अपने मायके चली गई थी। बच्चे की कस्टडी को लेकर मां और पिता के बीच कोर्ट में केस चल रहा है। इस बीच कोतवाल आरके सकलानी ने दोनों पक्षों को समझाया और पति—पत्नी को अकेले में मिलने का समय दिया। खैर दोनों परिवार मान गए और दोनों एक साथ होने पर राजी हो गए। वहीं पुलिस अब दोनों परिवारों की काउसलिंग भी करेगी। वहीं दोनों परिवारों के मिलन के बाद सबकी आंखें नम हो गई।