BJP MLA Suresh Rathor faces rape charges from bjp women worker

रेप का आरोप लगाकर भाजपा विधायक को ‘गुरु तुल्य’ बताने पर भी कम नहीं हो रही मुश्किलें

विकास कुमार।
हरिद्वार की ज्वालापुर विधानसभा सीट से भाजपा विधायक सुरेश राठौर पर रेप का आरोप लगाते हुए मुकदमा दर्ज कराने वाली भाजपा नेत्री ने हालांकि वीडियो जारी कर भाजपा विधायक पर लगे आरोपों से पीछे हटने का दावा किया था। यही नहीं भाजपा विधायक पर यौन शोषण का आरोप लगाने वाली भाजपा नेत्री ने भाजपा विधायक को गुरु तुल्य तक बता दिया था। लेकिन रेप पीडिता के बयान से पलटने या पीछे हटने से भाजपा विधायक की मुश्किलें कम हो गई है या फिर भाजपा विधायक को अदालत के सामने खुद को बेगुनाह साबित करना होगा।

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क्या कहती है पुलिस
हरिद्वार पुलिस के मुताबिक रेप के आरोपों की जांच का मामला कोर्ट के आदेश के बाद बहरादराबाद थाने में दर्ज किया गया था। उसे बाद में ज्वालापुर ट्रांसर्फर कर दिया गया था, जहां रेप पीडिता, उसके पति और तीन अन्य लोगों के खिलाफ भाजपा विधायक को वीडियो बनाकर तीन करोड रुपए की ब्लैकमेलिंग करने के आरोप में गिरफ्तार किया गया था। पुलिस के एक आला अफसर ने बताया कि रेप पीडिता क्या वीडियो है और उसमें क्या कहा गया है और इसे जांच में शामिल करना है या नहीं ये जांच अधिकारी पर निर्भर करता है। फिलहाल सभी पहलुओं से जांच की जा रही है।

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कोर्ट तय करेगी महिला का कबूलनामा सही है या नहीं
अधिवक्ता चेतन वर्मा ने बताया कि पीडिता ने कोर्ट के आदेश पर भाजपा विधायक के खिलाफ मुकदमा दर्ज कराया है। अब पीडिता बाहर क्या बयान दे रही है और पुलिस भाजपा विधायक को क्लीन चिट देती है या फिर चार्जशीट लगाती है ये सब अदालत पर निर्भर करेगा। पुलिस फाइनल रिपोर्ट दें या फिर चार्जशीट, ये कोर्ट ही तय करेगी कि भाजपा विधायक को राहत मिलेगी या फिर केस चलेगा। फिलहाल, वादिया के बयान से या मुकरजाने से भाजपा विधायक को बहुत बडी राहत मिल गई हो, ऐसा नहीं कहा जा सकता है।

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क्या हुई है बडी डील
वहीं भाजपा विधायक पर रेप का मुकदमा दर्ज कराने वाली भाजपा नेत्री के मुकर जाने पर विपक्षी कांग्रेस व अन्य दल ये आरोप भी लगा रहे हैं कि पीडिता को आरोपों से पीछे हटने के लिए बडी डील की गई है। वरिष्ठ कांग्रेसी नेता अनिल भास्कर ने बताया कि इस मामले में भाजपा विधायक बुरी तरह फंस गए थे और उनके राजनीतिक भविष्य भी अधर में था। ऐसे में इसमें कोई दो राय नहीं कि पीडिता का अपने बयानों से पीछे हटना किसी बडी डील का हिस्सा है। पुलिस को इस पहलु पर भी जांच करनी चाहिए। क्योंकि भाजपा जहां चाल चरित्र और चेहरे की बात करती है तो इस मामले में शुरु से आखिरी तक जिस तरह सत्ता का दुरुपयोग हो रहा है उसे भाजपा की कथनी और करनी में बहुत बडा फर्क साफ नजर आ रहा है। उधर, भाजपा विधायक सुरेश राठौर भी इस मामले में विपक्ष पर साजिश के तहत उन्हें बदनाम करने का आरोप लगा चुके हैं।

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